भोपाल। प्रदेश में महुआ से अवैध शराब बड़े पैमाने पर बनाई जाती है। सरकार इसे मुख्य धारा में लाने के लिए हैरिटेज (पारम्परिक) मदिरा का दर्जा देने जा रही है। इसके निर्माण, बिक्री और नियंत्रण के लिए आबकारी विभाग अलग से नियम बनाएगा। इतना ही नहीं, महुआ से बनी शराब को प्रोत्साहित करने के लिए इसे लघु उद्योग में भी शामिल किया जाएगा। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई कैबिनेट बैठक में इस पर मुहर लगा दी गई। सरकार ने महुआ से शराब बनाने के लिए उद्योग लगाने वालों को टैक्स आदि में छूट भी देने का निर्णय लिया है। हालांकि आदिवासी पूर्व की भांति महुआ से शराब बना सकेंगे और उसका सेवन कर सकेंगे।
जहरीली शराब से मौत, तो आरोपी को मृत्युदंड की सजा
कैबिनेट ने मप्र आबकारी अधिनियम संशोधन विधेयक 2021 को भी मंजूरी दे दी। इसके तहत जहरीली शराब से किसी की मृत्यु होती है, तो पहली बार आरोपी को उम्र कैद और बार-बार इस तरह का अपराध करने पर फांसी की सजा सहित 25 लाख के जुर्माने का प्रावधान किया जाएगा। यह विधेयक 9 अगस्त से विधानसभा के मानसून सत्र में पेश किया जाएगा।