इंदौर। अपराध शाखा ने ऐसे ठग को पकड़ा है, जो क्रिप्टो करेंसी में निवेश का झांसा देकर कई लोगों से करोड़ों रुपये ठग चुका है। आरोपित खुद को मोटिवेशनल स्पीकर बताता है। देशभर के निवेशकों को बुलाकर बड़े होटलों में सेमिनार भी करता था। पुलिस ने पकड़ा तो रौब दिखाने लगा। बड़े नेताओं और पुलिस अफसरों के नाम बताए। कहा कि वह लोकसभा का चुनाव लड़ेगा। एक दल में पत्नी मंडल पदाधिकारी है।
डीसीपी (अपराध) निमिष अग्रवाल के मुताबिक, आरोपित डा. निरंजन प्रधान मप्र के महू के उमरिया का निवासी है। आरोपित क्रिप्टो स्ट्रीट और आरएस-3 के नाम से कंपनी संचालित करता है। निरंजन ने लोगों को प्रलोभन दिए और क्रिप्टो करेंसी में निवेश करने की लुभावनी स्कीम बताईं।
बंगाल निवासी लक्ष्मी ने मध्य प्रदेश के डीजीपी सुधीर कुमार सक्सेना से निरंजन की शिकायत की। डीजीपी ने स्पेशल डीजीपी अशोक अवस्थी को जांच सौंपी। मप्र के डीजीपी को मिली थी बंगाल से शिकायत
पकड़ा तो बड़ों का नाम बताने लगा बोला- लोकसभा का चुनाव लड़ेगा, पत्नी एक पार्टी में है पदाधिकारी
तो झांसे में आ गए निवेशक
शुरुआत में लोगों को मुनाफा दिया। इसके बाद निवेशक झांसे में आ गए। उन्हें बड़े होटलों में बुलाया और सेमिनार आयोजित किए। निरंजन ने स्वयं को मोटिवेशनल स्पीकर बताया और फर्जी इंडेक्स के जरिए निवेशकों को मुनाफा होना दर्शाया। आरोपित ने करीब दो करोड़ रुपये ठग लिए।
डीजीपी से की थी शिकायत
पिछले दिनों बंगाल निवासी लक्ष्मी ने मध्य प्रदेश के डीजीपी सुधीर कुमार सक्सेना से निरंजन की शिकायत की। डीजीपी ने स्पेशल डीजीपी अशोक अवस्थी को जांच सौंपी। इसके बाद अपराध शाखा सक्रिय हुई और पुलिस ने केस दर्ज कर रविवार को निरंजन को गिरफ्तार कर लिया।
खुद को पूर्व सैन्यकर्मी बताया
दोपहर में टीम ने पकड़ा तो निरंजन बोला- मैं पूर्व सैन्यकर्मी हूं। सेवानिवृत्त लेने के बाद समाजसेवा कर रहा हूं। उसने कहा कि वह लोकसभा चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहा है। पुलिस को उसके मोबाइल से बायोडाटा भी मिला है। डीसीपी के मुताबिक, निरंजन की पत्नी रीता भी एक पार्टी में पदाधिकारी है। निरंजन को सोमवार को कोर्ट पेश कर रिमांड मांगा जाएगा। उसके पास मिले दस्तावेजों की जांच की जाएगी। आरोपित ने फर्जी एप तैयार कर लिया था। साफ्टवेयर बनाने वाले की भी जांच की जाएगी।